चंडीगढ़ । स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज अपने तेज तर्रार स्वभाव और बेबाक बोली के लिए जाने जाते हैं. कोरोना महामारी के इस दौर में अनिल विज खुद स्वास्थ्य सुविधाओं की कमान संभाले हुए थे. प्रदेश में स्वास्थ्य सुविधाओं की कमी के चलते कई बार उन्हें भावुक भी देखा गया. यह अनिल विज हीं थे जिन्होंने कहा था कि हमें थोड़ा संयम रखना चाहिए, दोबारा से हंसने-खेलने के दिन लौटेंगे.
अब स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने कहा कि हरियाणा में कोरोना का इतिहास लिखा जाएगा. ताकि 50 या 100 साल बाद हमारी आगे आने वाली पीढ़ियां इस महामारी के बारे में जान सकें. भविष्य में यदि आगे आने वाली पीढ़ियों के सामने ऐसी कोई महामारी आती है तो उन्हें इससे निपटने में सहायता मिल सके. उन्होंने कहा कि कोरोना से जुड़ा इतिहास लिखने के लिए टीम का गठन कर दिया गया है, जो यह बताएगी कि कोरोना महामारी के समय प्रदेश में कैसे हालात थे और इससे निपटने के लिए सरकार ने क्या-क्या कदम उठाए.
अनिल विज ने कहा कि कोरोना महामारी के शुरुआत में जब सब लोग इसकी भयावहता से अनजान थे. हमें साधारण सी बातें-जैसे मास्क कैसे पहना जाएगा? कहां से मिलेगा? पीपीइ किट कहां से बनेगी? क्या-क्या सावधानियां बरतनी चाहिए? और इस बीमारी की क्या दवाइयां है? इन सभी बातों के बारे में हमें बिल्कुल भी जानकारी नहीं थी, लेकिन हालातों से लड़ते हुए हमने धीरे-धीरे इस महामारी से बचाव के बारे में अंदाजा लगाना शुरू किया. अब यही अनुभव आगे आने वाली पीढ़ियों के काम आ सकता है.इसलिए सरकार चाहती है कि भविष्य की पीढ़ियां इस बात को जाने कि हमारे पूर्वजों ने किस प्रकार ऐसी महामारी का सामना किया था, ताकि यदि भविष्य में उनके सामने ऐसी परिस्थितियां आए, तो वह उनका डटकर सामना कर सकें. इसके लिए टीम का गठन कर दिया गया है.